युवाओं के लिए गीता के सिद्धान्तों को अमृत तुल्य-नरेन्द्र अग्रवाल, रजत अग्रवाल
हापुड़ (अमित मुन्ना)।
गीता जयन्ती के अवसर पर ए०टी० एम० एस० कॉलिज अच्छेजा में छात्रों को गीता की शिक्षाओं का ज्ञान कराया गया। चेयरमैन नरेन्द्र अग्रवाल और सचिव रजत अग्रवाल ने मौन साधना के विपश्यना शिविर के अनुभव को याद करते हुए युवाओं के लिए गीता के सिद्धान्तों को अमृत तुल्य बताया। कार्यकारी निदेशक डॉ० राकेश अग्रवाल ने गीता के निष्काम कर्मयोग को अवसाद से बचा कर शान्ति प्रदान करने वाला बताया। वरिष्ट नागरिक त्रिलोक चन्द सिंहल ने कहा कि गीता विश्व का सर्वश्रेष्ठ ग्रंथ है, जो भटके हुए मनुष्य को सही दिशा देता है।
बी० एड० के डीन डॉ० संजय कुमार ने कहा कि गीता की जीवन में मौ और गुरु का स्थान है जो सच्ची शिक्षा देते है।प्रो० एस० पी० राघव ने कहा कि गीता शान्ति और सन्तोष प्रदान करती है। गीता का हर शब्द कल्याणकारी दिशा बोध कराता है। पोलीटेक्नीक के शिक्षक सोहन पाल ने गीता को योगशास्त्र बताया।
प्रीति मीनाक्षी गर्ग, शिखा स्वीटी विनय सोहनवीर पवन कुमार ने गीता को कर्तव्य बोध कराने वाला बताया।
रजिस्ट्रार प्रतीक शर्मा, एडमिन हेड एस० के० शर्मा ने गीता को अदभूत ग्रंथ कहा खुशी त्यागी, ईशा व काजल ने भी अपने विचार व्यक्त किये।