मोनाड यूनिवर्सिटी में फर्जी मार्कशीट व डिग्री के मामले में कोर्ट ने खारिज की नौ आरोपियों की जमानत

मोनाड यूनिवर्सिटी में फर्जी मार्कशीट व डिग्री के मामले में कोर्ट ने खारिज की नौ आरोपियों की जमानत
हापुड़।
देशभर में फर्जी डिग्रियों व मार्कशीट बनाने व बेचने के मामले में जेल में बंद नौ आरोपियों को जमानत के लिए बुधवार को सीजेएम कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उनकी जमानत खारिज होने पर उन्हें वापस जेल भेज दिया गया। इससे दो दिन पूर्व यूनिवर्सिटी के चेयरमैन सहित दो की भी जमानत खारिज हो गई थी।
जानकारी के अनुसार हरियाणा के कुछ लोगों की फर्जी मार्कशीट व डिग्री की शिकायत पर यूपी एसटीएफ ने 17 मई 2025 को मोनाड यूनिवर्सिटी पर छापेमारी कर 1372 फर्जी डिग्रियां,
262 फर्जी प्रोविजनल व 14 मोबाइल फोन व सात लैपटॉप बरामद कर चेयरमैन सहित 11 लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था।
एसटीएफ के मुताबिक आरोपी
बीटेक, एलएलबी, बी.एड व फार्मेसी जैसे कोर्स की फर्जी डिग्रियां 50 हजार रुपये से चार लाख रुपये में लोगों को बेच रहे थे। एसटीएफ उन लोगों की भी जांच कर रही है, जो फर्जी डिग्रियों पर सरकारी व आदि संस्थानों में नौकरी कर रहे हैं।
दो दिन पूर्व यूनिवर्सिटी के चेयरमैन विजेंद्र सिंह हुड्डा और उनके सहयोगी संदीप सेहरावत की जमानत याचिका खारिज कर दी थी।
बुधवार को पुलिस नौ अन्य आरोपियों मुकेश ठाकुर, नितिन कुमार सिंह, गौरव शर्मा, सन्नी कश्यप, इमरान, कुलदीप, विपुल व अनिल बत्रा को चीफ ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट की कोर्ट में पेश किया गया, जहां उनकी जमानत अर्जी खारिज होने के बाद उन्हें जेल भेज दिया।