73 महिलाएं करा चुकी हैं नसबंदी, हापुड़, गढ़मुक्तेश्वर समेत अन्य स्थानों पर 15 नसबंदी कर चुकी हैं सीएमओ
हापुड़(अमित मुन्ना/अनूप)। प्राथमिक और सामुदायिक स्वासथ्य केंद्रों पर ओपीडी करने के साथ ही मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डा. रेखा शर्मा जनसंख्या स्थिरता पखवाड़े के सेवा प्रदायगी चरण में भी अपनी सेवाएं दे रही हैं। दरअसल महिला सर्जन का तबादला होने के बाद महिला नसबंदी प्रभावित होना शुरू हुईं तो सीएमओ ने खुद ही मोर्चा संभाल लिया। सीएमओ एक सप्ताह के दौरान जनपद में 15 से अधिक महिलाओं की नसबंदी कर चुकी हैं। इसके साथ ही ओपीडी और अस्पतालों का निरीक्षण का कार्य भी वह इसी दौरान निपटा लेती हैं। सीएमओ के खुद अस्पतालों में जाकर काम करने से वहां का स्टाफ भी उत्साहित है।
सीएमओ डा. रेखा शर्मा ने बताया जनसंख्या स्थिरता पखवाड़े के सेवा प्रदायगी चरण में परिवार नियोजन कार्यक्रम को जन-जन तक पहुंचाने का प्रयास किया जा रहा है। जनपद में 27 जुलाई तक कुल 73 महिलाओं ने परिवार नियोजन का स्थाई साधन अपनाते हुए स्वेच्छा से नसबंदी कराई है। पुरुष इस मामले में थोड़ा पीछे हैं, हालांकि उन्हें भी परिवार नियोजन कार्यक्रम में बराबर की भागीदारी के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। जनपद में 27 जुलाई तक तीन पुरुषों ने स्वेच्छा से अपनी नसबंदी कराई है। परिवार नियोजन के अस्थाई विकल्प अपनाने वाली महिलाओं की संख्या भी अच्छी खासी है। 27 जुलाई तक 2028 महिलाओं ने आईयूसीडी और पीपीआईयूसीडी लगवाई हैं। त्रैमासिक गर्भनिरोधक इंजेक्शन के जरिये परिवार नियोजन करने वाली महिलाओं की संख्या 678 हो गई है।
परिवार नियोजन कार्यक्रम के नोडल अधिकारी डा. प्रवीण शर्मा ने बताया जनपद में 11 जुलाई से शुरू हुए सेवा प्रदायगी चरण के दौरान 27 जुलाई तक कुल 73 महिला और तीन पुरुष नसबंदी हुई हैं। इनमें से 15 महिलाओं की नसबंदी खुद सीएमओ डा. रेखा शर्मा ने सीएचसी हापुड़, सीएचसी गढ़मुक्तेश्वर और अन्य स्थानों पर जाकर की है। उन्होंने बताया हापुड़ सीएचसी में 13, सिंभावली सीएचसी में 22, गढ़ मुक्तेश्वर सीएचसी में आठ, धौलाना सीएचसी में चार, जिला चिकित्सालय में अब तक 26 महिला नसबंदी हुई हैं। पुरुष नसबंदी की बात करें तो दो हापुड़ सीएचसी और एक सिंभावली सीएचसी में हुई है। जिला परिवार नियोजन विशेषज्ञ बृजभान ने बताया आईयूसीडी, पीआईयूसीडी और अंतरा गर्भनिरोधक इंजेक्शन के अलावा जनपद में 11 जुलाई से करीब 20 हजार कंडोम वितरित किए जा चुके हैं। इतना ही नहीं विभिन्न इकाइयों से 4748 माला-एन और 3250 छाया गर्भनिरोधक गोलियों के अलावा 1770 ई-पिल्स वितरित की गई हैं।
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