बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा शिक्षकों से आयकर की गलत गणना कर कटौती की गयी
हापुड़। बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षकों से आयकर की कटौती में बड़ी गड़बड़ी हुई है। बचत प्रपत्र देने के बावजूद शिक्षकों से कर लिया गया है। एडवांस में कर जमा करने वाले शिक्षकों से भी जनवरी माह के वेतन से अधिक कर वसूला है। गढ़ और सिंभावली ब्लॉक में ऐसे सैकड़ों मामले हैं। कई शिक्षकों के वेतन में टैक्स कटौती की विसंगति के चलते 500 से 700 रुपये तक भी आए हैं।
बेसिक शिक्षा विभाग में करीब 2250 शिक्षक हैं, लेखा विभाग इनके वेतन और कर संबंधी कार्य देखता है। शिक्षक आयकर दो तरह से कटवाते हैं, इसमें कुछ शिक्षक ऐसे होते हैं जो हर महीने वेतन से एडवांस में आयकर कटवाते रहते हैं, जिसके चलते अंतिम चरण में उन्हें ज्यादा पैसा नहीं देना होता और कुछ शिक्षक पूरा कर एक बार में ही कटवाते हैं।
प्रावधान के अनुसार बचत पर कर देय नहीं होता, सेक्शन 80 सी और 80 सीसीडी में डेढ़ लाख तक की बचत की जा सकती है। हालांकि यह प्रपत्र टैक्स कटौती से पहले देने होते हैं, जो शिक्षकों ने संबंधित पटल पर जमा कराए थे। लेकिन गणना किस तरह की गई, यह समझ से परे है। शिक्षकों का आरोप है कि जो शिक्षक होम लोन दे रहे हैं, उनसे भी कर की कटौती की गई है। जबकि होम लोन चुकाने वाले शिक्षकों को दो लाख तक की बचत का प्रावधान है। बहरहाल, इस मामले ने तूल पकड़ लिया है। उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ के पदाधिकारियों ने शिकायत कर, सख्त कार्रवाई की मांग उठाई है। इस पटल का काम देख रहे जिम्मेदार अब शिक्षकों से फिर कागजात जमा कराने की अपील कर रहे हैं, जबकि आयकर को पैसा जाने के बाद फाइल रिटर्न के दौरान ही उसे वापस पाया जा सकता है।
इस तरह समझें
किसी शिक्षक का वेतन 50 हजार रुपये प्रति महीना है, ऐसे में साल में उसकी कमाई कुल 6 लाख होती है। आयकर प्रावधान में डेढ़ लाख तक बचत का नियम है, यह बचत इंश्योरेंस, बच्चों की फीस, होम लोन आदि में दिखाई जाती है। शिक्षकों ने इस तरह के बचत प्रपत्र जमा किए थे, लेकिन इन्हें पटल पर काम देख रहे जिम्मेदारों ने शामिल ही नहीं किया। जिसके चलते कर की कटौती में अनियमितता हुई।
मनमानी आयकर कटौती से शिक्षकों को क्षति
आयकर कटौती में शिक्षकों के बचत प्रपत्रों को शामिल नहीं किया गया। मनमाने ढंग से आयकर कटौती कर, शिक्षकों को करोड़ों की अतिरिक्त क्षति पहुंचाई गई है। जिम्मेदारों पर इस मामले में जांच कर, कार्रवाई होनी चाहिए, अन्यथा शिक्षक आंदोलन करेंगे। – नीरज चौधरी, जिलामंत्री, उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ।
मामला गंभीर, जांच कर होगी कार्रवाई
मामला लेखा विभाग से जुड़ा है, फिर भी आयकर कटौती में इस तरह के आरोप गंभीर है, इस प्रकरण की आवश्यक जांच कर, सख्त कार्रवाई करायी जाएगी। – अर्चना गुप्ता, बीएसए।
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